City Investments to Innovate, Integrate and Sustain 2.0 (CITIIS 2.0) Program Approved by Cabinet from 2023 to 2027
CITIIS 2.0 कार्यक्रम: सिटी इन्वेस्टमेंट्स टू इनोवेट, इंटीग्रेट एंड सस्टेनेबल 2.0 कार्यक्रम आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय (मिनिस्ट्री ऑफ हाउसिंग एंड अर्बन अफेयर्स/MoHUA) की एक पहल है, जिसका उद्देश्य CITIIS 1.0 की सीख एवं सफलताओं का लाभ उठाना तथा आमाप वर्धन करना है। CITIIS 2.0 कार्यक्रम यूपीएससी प्रारंभिक परीक्षा एवं यूपीएससी मुख्य परीक्षा (जीएस पेपर 2- विभिन्न क्षेत्रों के प्रोत्साहन तथा विकास के लिए विभिन्न सरकारी पहल; जीएस पेपर 3- पर्यावरण एवं पारिस्थितिकी) के लिए भी महत्वपूर्ण है।
हाल ही में, माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में, केंद्रीय मंत्रिमंडल ने CITIIS 2.0 कार्यक्रम को अपनी स्वीकृति प्रदान की है, जो सिटी इन्वेस्टमेंट टू इनोवेट, इंटीग्रेट एंड सस्टेन 2.0 के प्रति संदर्भित है।
सिटी इन्वेस्टमेंट्स टू इनोवेट, इंटीग्रेट एंड सस्टेन 2.0 (CITIIS 2.0) कार्यक्रम का उद्देश्य CITIIS 1.0 की सीख एवं सफलताओं का लाभ उठाना तथा उनका आमाप वर्धन करना है।
CITIIS 1.0 मॉडल का अनुसरण करते हुए CITIIS 2.0 के तीन प्रमुख घटक हैं:
घटक 1: एकीकृत अपशिष्ट प्रबंधन पर ध्यान देने के साथ चक्रीय अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहित करने वाली प्रतिस्पर्धी रूप से चयनित परियोजनाओं के चयन के माध्यम से 18 स्मार्ट शहरों में जलवायु लोचशीलता, अनुकूलन एवं शमन के निर्माण पर केंद्रित परियोजनाओं के विकास के लिए वित्तीय एवं तकनीकी सहायता।
घटक 2: सभी राज्य एवं केंद्र शासित प्रदेश मांग के आधार पर सहायता के पात्र होंगे।
घटक 3: तीनों स्तरों पर अंतःक्षेप; केंद्र, राज्य एवं शहर संस्थागत सुदृढ़ता, ज्ञान प्रसार, साझेदारी, निर्माण क्षमता, अनुसंधान तथा विकास के माध्यम से सभी राज्यों एवं शहरों में विस्तार के समर्थन के माध्यम से शहरी भारत में जलवायु शासन को आगे बढ़ाएंगे।
सिटी इन्वेस्टमेंट्स टू इनोवेट, इंटीग्रेट एंड सस्टेन 2.0 कार्यक्रम (सिटीज 2.0)-
CITIIS 1.0 को 2018 में MoHUA, AFD, EU तथा NIUA द्वारा संयुक्त रूप से 933 करोड़ रुपए (106 मिलियन यूरो) के कुल परिव्यय के साथ प्रारंभ किया गया था।
CITIIS 1.0 में तीन घटक शामिल थे-
तकनीकी सहायता घरेलू विशेषज्ञों, अंतर्राष्ट्रीय विशेषज्ञों एवं अनुप्रस्थ (ट्रांसवर्सल) विशेषज्ञों के माध्यम से तीनों स्तरों पर CITIIS 1.0 कार्यक्रम के तहत उपलब्ध कराई गई थी। इसके परिणामस्वरूप प्रतिस्पर्धी एवं सहकारी संघवाद के सिद्धांतों के आधार पर एक विशिष्ट चुनौती-संचालित वित्तपोषण मॉडल के माध्यम से अभिनव, एकीकृत एवं सतत शहरी विकास व्यवहार को मुख्यधारा में लाया गया है।
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