Table of Contents
यूपीएससी के लिए 19 जनवरी 2023 की दैनिक समसामयिकी: हम आपके लिए “यूपीएससी परीक्षा के लिए दैनिक समसामयिकी” लेकर आए हैं, जो यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा के उम्मीदवारों को सर्वाधिक महत्वपूर्ण दैनिक यूपीएससी प्रारंभिक परीक्षा विशिष्ट समसामयिकी के साथ अपडेट करने के सिद्धांत पर आधारित है। ये दैनिक समसामयिकी हमारी टीम द्वारा यूपीएससी उम्मीदवारों के कीमती समय को बचाने के लिए बिट फॉर्म/संक्षिप्त रूप में तैयार किए गए हैं। आज के प्रीलिम्स बिट्स में हम नीचे दिए गए टॉपिक्स के लिए दैनिक समसामयिकी बिट्स को कवर कर रहे हैं: थाईपुसम, स्पॉट-बेलिड ईगल उल्लू, प्लैंकटन एवं एएसईआर रिपोर्ट।
थाईपुसम क्या है?
थाईपुसम चर्चा में क्यों है?
- थाईपुसम प्रतिवर्ष जनवरी या फरवरी में थाई के तमिल महीने में पूर्णिमा के दौरान मनाया जाता है एवं इस वर्ष यह उत्सव 5 फरवरी को मनाया जाएगा।
- थाईपुसम तमिल मूल के समस्त व्यक्तियों के मध्य एक प्रसिद्ध शुभ त्योहार है।
- इस दिन को तमिलनाडु में वर्ष 2021 में सार्वजनिक अवकाश घोषित किया गया था।
थाईपुसम महोत्सव पर प्रीलिम्स बिट्स
- थाईपुसम त्योहार भगवान मुरुगन अथवा कार्तिकेय से संबंधित है।
- इस दिन लोग भगवान मुरुगन के विजय का उत्सव मनाते हैं एवं कावड़ी अट्टम जैसे धार्मिक अनुष्ठान संपादित करते हैं तथा भगवान की प्रार्थना करते हैं एवं प्रसाद भी चढ़ाते हैं।
थाईपुसम के पीछे की कहानी
- पुराणों के अनुसार, एक बार सुरपद्मन नामक एक दुष्ट असुर ने स्वर्ग पर विजय प्राप्त की एवं सभी देवताओं अथवा भगवान को अपना बंधक बना लिया।
- देवताओं ने स्वयं को मुक्त कराने हेतु देवी पार्वती के रूप में भगवान शिव से प्रार्थना की। ऐसा माना जाता है कि देवता इसलिए परास्त हुए क्योंकि उनके पास कोई सक्षम नेता नहीं था।
- भगवान शिव एवं देवी पार्वती ने अपने पुत्र मुरुगन को जन्म दिया, जिसे सुरपद्मन का वध करने वाला माना जाता था।
- भगवान मुरुगन को देवी पार्वती की शक्ति से प्रभावित एक पवित्र आवरण प्रदान किया गया था।
- मुरुगन ने असुरों से युद्ध किया एवं उस पवित्र भाले से सुरपद्मन को मार डाला।
कावड़ी अट्टम क्या है?
- कावड़ी अट्टम का त्योहार एक धार्मिक लोक नृत्य है जो तमिलनाडु के हिंदुओं द्वारा मनाया जाता है।
- कावड़ी अट्टम नाम का शाब्दिक अर्थ है ‘भार नृत्य’। इस त्योहार में युद्ध के देवता भगवान मुरुगन की पूजा की जाती है।
- शब्द, ‘कावड़ी’ का अर्थ है ‘भार’। भगवान मुरुगन की पूजा उनके ऋणों को चुकाने एवं किसी भी तरह की आपदा से बचाने में सहायता करने हेतु उनसे प्रार्थना करने के लिए औपचारिक बलिदान एवं प्रसाद बनाकर की जाती है।
- कावड़ी रूप एवं आकार में भिन्न हो सकती है तथा इसमें चावल, दूध या कुछ भी हो सकता है जो भक्त भगवान मुरुगन को अर्पित करना चाहते हैं।
स्पॉट-बेलीड ईगल उल्लू क्या है?
स्पॉट बेलीड ईगल आउल चर्चा में क्यों है?
- वन्यजीव शोधकर्ताओं के एक दल द्वारा सेशाचलम वन क्षेत्र में प्रथम बार ‘स्पॉट बेलीड ईगल आउल’ (बुबो नेपालेंसिस) देखा गया।
- इसके पूर्व इसे नागार्जुन सागर श्रीशैलम व्याघ्र अभ्यारण्य टाइगर रिजर्व (नागार्जुन सागर श्रीशैलम टाइगर रिजर्व/NSTR) में देखा गया था।
स्पॉट-बेलीड ईगल आउल के लिए प्रीलिम्स बिट्स
- स्पॉट-बेलीड ईगल उल्लू (बुबो नेपालेंसिस) एक बड़े आकार का पक्षी है, जिसकी लंबाई 20-25 इंच है एवं इसका वजन 1.5 किलोग्राम तथा 2 किलोग्राम के बीच होता है, यह छोटे कृन्तकों एवं छिपकलियों का भोजन करता है।
- यह चिड़िया मनुष्यों की भांति अजीब सी चीख निकालती है और इसलिए इसे भारत में ‘घोस्ट ऑफ फॉरेस्ट’ तथा श्रीलंका में ‘डेविल बर्ड’ कहा जाता है।
- ये स्पॉट-बेलीड ईगल उल्लू प्रजातियां भारत, श्रीलंका, नेपाल, भूटान, बांग्लादेश, म्यांमार, चीन, थाईलैंड, लाओस, कंबोडिया एवं वियतनाम में पाई जाती जाती हैं।
- आईयूसीएन दर्जा: कम चिंताजनक (लीस्ट कंसर्न/एलसी)
प्लैंकटन क्या हैं?
प्लवक अथवा प्लैंकटन चर्चा में क्यों है?
नेब्रास्का-लिंकन विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने बताया है कि प्लवक की एक विशेष प्रजाति, जिसका नाम हालटेरिया है, केवल खाने के लिए दिए गए वायरस को ही ‘विकसित एवं विभाजित’ कर सकती है। यह समुद्री खाद्य श्रृंखला के लिए महत्वपूर्ण हो सकता है।
प्लैंकटन के लिए प्रीलिम्स बिट्स
- प्लैंकटन सूक्ष्म जीव हैं जो केवल एक धारा के साथ गति कर सकते हैं।
- उनके पास सक्रिय रूप से स्वयं को आगे बढ़ाने हेतु कोई कौशल उपलब्ध नहीं होता है।
- हालटेरिया प्लैंकटन: हालटेरिया प्लैंकटन पक्ष्माभी (सिलिएट्स) होते हैं, जिसका अर्थ है कि उनकी सतह पर सिलिया नामक रोम अथवा बाल सदृश संरचनाएं होती हैं। कभी-कभी वे छोटी दूरी तक कूदने के लिए इनमें से कुछ सिलिया को स्पन्दित कर सकते हैं, किंतु प्रायः ऐसा नहीं होता क्योंकि इसके लिए अत्यधिक मात्रा में ऊर्जा की आवश्यकता होती है।
- फाइटोप्लांकटन: एक प्रकार का प्लवक – फाइटोप्लांकटन – अनेक जल निकायों की सतह के करीब पाया जाता है। यह एक स्वपोषी (ऑटोट्रॉफ़) है, जिसका अर्थ है कि यह प्रकाश संश्लेषण के माध्यम से अन्य यौगिकों के साथ कार्बन डाइऑक्साइड का सेवन करके अपना भोजन बना सकता है।
- जूप्लांकटन: छोटी मछलियां एवं बड़ा प्लैंकटन जिसे जोप्लैंक्टोन कहा जाता है, अपने पोषण के लिए फाइटोप्लांकटन खाते हैं; वे बदले में बड़ी मछलियों द्वारा खाए जाते हैं, इत्यादि।
फाइटोप्लांकटन खाद्य श्रृंखला की पुनः पूर्ति करने में किस प्रकार सहायता करता है?
- जब फाइटोप्लांकटन मर जाते हैं, तो वे चारों ओर अपवाहित होते हैं जहां वे उपस्थित होते हैं, एक तटीय पोषक चक्र का हिस्सा बनते हैं अथवा वे समुद्र तल की ओर प्रवाहित हो जाते हैं, जहां वे विघटित होते हैं। उनके घटक तब रोगाणुओं के लिए उपलब्ध हो जाते हैं या समुद्र तल में पृथक्कृत हो जाते हैं।
- अतः, फाइटोप्लांकटन कार्बन एवं अन्य पोषक तत्वों को वायुमंडल तथा समुद्र की सतह से नीचे समुद्र तल तक लाते हैं एवं खाद्य श्रृंखला की पुनः पूर्ति करने में सहायता करते हैं (और कार्बन को अपने शरीर में तथा तलछट के रूप में ‘ट्रैप’ भी करते हैं)।
- वे जीवाणुओं (बैक्टीरिया) के साथ संयोजित हो जाते हैं जो रसायन संश्लेषण नामक प्रक्रिया में सल्फर, लौह अथवा हाइड्रोजन को ऑक्सीकृत करके अपना भोजन बनाते हैं।
एएसईआर रिपोर्ट क्या है?
एएसईआर रिपोर्ट चर्चा में क्यों है?
एएसईआर की 17वीं रिपोर्ट बुधवार (19 जनवरी, 2023) को नई दिल्ली में जारी की गई।
एएसईआर रिपोर्ट के लिए प्रीलिम्स बिट्स
- शिक्षा की वार्षिक स्थिति रिपोर्ट अथवा एनुअल स्टेटस ऑफ एजुकेशन रिपोर्ट (एएसईआर), एक वार्षिक, नागरिक-नेतृत्व वाला घरेलू सर्वेक्षण है, जिसका उद्देश्य यह समझना है कि क्या ग्रामीण भारत में बच्चे विद्यालय में नामांकित हैं तथा क्या वे शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं।
- शिक्षा की वार्षिक स्थिति रिपोर्ट (ASER) का संचालन प्रथम, एक गैर-सरकारी संगठन द्वारा किया जाता है।
- अधिकांश अन्य बड़े पैमाने के शिक्षण आकलनों के विपरीत, एएसईआर विद्यालय-आधारित सर्वेक्षण के स्थान पर एक घर-आधारित सर्वेक्षण है।
- यह डिज़ाइन सभी बच्चों को शामिल करने में सक्षम बनाता है – वे जो कभी विद्यालय नहीं गए हैं अथवा पढ़ाई छोड़ चुके हैं, साथ ही वे जो सरकारी विद्यालयों, निजी विद्यालयों, धार्मिक विद्यालयों अथवा कहीं और हैं।
- 2005 से 2014 तक एवं पुनः 2018 तक प्रत्येक वैकल्पिक वर्ष में, बड़े पैमाने पर, राष्ट्रव्यापी एएसईआर सर्वेक्षणों ने राष्ट्रीय, राज्य और जिला स्तर पर 3-16 आयु वर्ग के बच्चों के नामांकन की स्थिति एवं 5-16 आयु वर्ग के बच्चों के बुनियादी पठन एवं अंकगणितीय स्तर के प्रतिनिधि अनुमान प्रदान किए।।
प्रायः पूछे जाने वाले प्रश्न
प्र. तमिलनाडु राज्य में थाईपुसम क्यों मनाया जाता है?
उत्तर. इस दिन लोग भगवान मुरुगन के विजय का उत्सव मनाते हैं एवं कावड़ी अट्टम जैसे धार्मिक अनुष्ठान संपादित करते हैं एवं भगवान की प्रार्थना करते हैं तथा प्रसाद भी चढ़ाते हैं।
प्र. प्लवक क्या हैं?
उत्तर. प्लैंकटन सूक्ष्म जीव हैं जो केवल एक धारा के साथ गमन कर सकते हैं। उनके पास स्वयं को सक्रिय रूप से आगे बढ़ाने के लिए कोई कौशल उपलब्ध नहीं होता है।
प्र. एएसईआर सर्वेक्षण क्या है?
उत्तर. शिक्षा रिपोर्ट की वार्षिक स्थिति अथवा एनुअल स्टेटस ऑफ एजुकेशन रिपोर्ट (एएसईआर), एक वार्षिक, नागरिक-नेतृत्व वाला घरेलू सर्वेक्षण है, जिसका उद्देश्य यह समझना है कि क्या ग्रामीण भारत में बच्चे विद्यालय में नामांकित हैं और क्या वे सीख रहे हैं।
प्र. स्पॉट-बेलिड ईगल उल्लू क्या है?
उत्तर. स्पॉट-बेलिड ईगल उल्लू (बुबो नेपालेंसिस) बड़े आकार का एक पक्षी है, जिसकी लंबाई 20-25 इंच है एवं इसका वजन 1.5 किलोग्राम तथा 2 किलोग्राम के बीच होता है, यह छोटे कृन्तकों एवं छिपकलियों का भोजन करता है।