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डिजी-यात्रा- यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता
- GS पेपर 2: शासन, प्रशासन एवं चुनौतियाँ- विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए सरकार की नीतियां एवं अंतः क्षेप तथा उनकी अभिकल्पना एवं कार्यान्वयन से उत्पन्न होने वाले मुद्दे।’
डिजी-यात्रा चर्चा में क्यों है?
- हाल ही में, जीएमआर द्वारा संचालित दिल्ली इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (डायल) ने एंड्रॉइड प्लेटफॉर्म के लिए अपने ऐप के बीटा संस्करण का शुभारंभ करते हुए, केंद्र की डिजी यात्रा पहल के सॉफ्ट लॉन्च की घोषणा की।
- डिजी यात्रा, चेहरे की पहचान (फेसिअल रिकग्निशन ) तकनीक पर आधारित यात्री प्रक्रिया प्रणाली, दिल्ली हवाई अड्डे पर प्रारंभ की गई है एवं हवाई अड्डे के टर्मिनल 3 पर आवश्यक आधारिक अवसंरचना स्थापित की गई है।
डिजी-यात्रा
- डिजी यात्रा के बारे में: डिजी यात्रा की परिकल्पना है कि यात्री अपनी पहचान स्थापित करने के लिए चेहरे की विशेषताओं का उपयोग करके कागज रहित एवं संपर्क रहित प्रक्रिया के माध्यम से हवाई अड्डे पर विभिन्न चौकियों (जांच स्थलों) से गुजरते हैं, जो बोर्डिंग पास से जुड़ा होगा।
- कार्यान्वयन: परियोजना डिजी यात्रा फाउंडेशन द्वारा कार्यान्वित की जा रही है।
- कवर किए गए हवाई अड्डे: उपरोक्त हवाई अड्डों के अतिरिक्त, इस माह वाराणसी एवं बेंगलुरु में तथा अगले साल मार्च तक पांच हवाई अड्डों- पुणे, विजयवाड़ा, कोलकाता, दिल्ली एवं हैदराबाद में डिजी यात्रा प्रारंभ की जाएगी।
- भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया/एएआई) उन हवाई अड्डों की पहचान करेगा जहां डिजी यात्रा चरणबद्ध रूप से लागू की जाएगी।
- महत्व: डिजी यात्रा तकनीक के साथ, यात्रियों के प्रवेश को सभी जांच स्थलों पर चेहरे की पहचान प्रणाली के आधार पर स्वचालित रूप से प्रक्रियागत किया जाएगा – जिसमें हवाई अड्डे में प्रवेश, सुरक्षा जांच क्षेत्र, विमान बोर्डिंग इत्यादि सम्मिलित हैं।
डिजी यात्रा सुविधा का उपयोग कैसे करें?
- डिजी यात्रा ऐप डाउनलोड करें: डिजी यात्रा सुविधा का उपयोग करने के लिए यात्रियों को सर्वप्रथम डिजी यात्रा ऐप डाउनलोड करना होगा।
- पंजीकरण: उपयोगकर्ता आधार प्रमाण पत्र (क्रेडेंशियल) का उपयोग करके ऐप पर पंजीकरण कर सकते हैं, इसके बाद आधार कार्ड के साथ एक सेल्फी ले सकते हैं।
- इसके बाद कोविन प्रमाण पत्र का उपयोग करके टीकाकरण विवरण ऐप में जोड़ना होगा।
- निर्बाध यात्रा: उपरोक्त के बाद, व्यक्ति को अपने बोर्डिंग पास को क्यूआर कोड या बारकोड के साथ स्कैन करना होगा, जिसके पश्चात प्रमाण पत्र को हवाई अड्डे के साथ साझा किया जाएगा।
- हवाई अड्डे में प्रवेश के लिए यात्रियों को ई-गेट पर अपने बोर्डिंग पास को स्कैन करना होगा एवं वहां लगे फेशियल रिकग्निशन सिस्टम कैमरे को देखना होगा।
- अन्य जांच बिंदुओं में प्रवेश के लिए भी यही तरीका लागू होगा।
डिजी यात्रा फाउंडेशन
- डिजी यात्रा फाउंडेशन के बारे में: डिजी यात्रा फाउंडेशन एक संयुक्त उद्यम कंपनी है जिसके शेयरधारक हैं-
- भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (26% हिस्सेदारी) एवं
- बेंगलुरु एयरपोर्ट, दिल्ली एयरपोर्ट, हैदराबाद एयरपोर्ट, मुंबई एयरपोर्ट तथा कोचीन अंतरराष्ट्रीय विमानपत्तन, शेष 74 प्रतिशत शेयर समान रूप से रखते हैं।
- प्रमुख भूमिका: डिजी यात्रा फाउंडेशन यात्री पहचान पत्र सत्यापन प्रक्रिया का संरक्षक होगा।
- यह स्थानीय हवाई अड्डा प्रणालियों के अनुपालन एवं दिशानिर्देशों के मानदंडों को भी परिभाषित करेगा।
- अंकेक्षण प्रणाली: स्थानीय एयरपोर्ट बायोमेट्रिक बोर्डिंग सिस्टम के लिए डिजी यात्रा दिशानिर्देशों द्वारा परिभाषित विभिन्न अनुपालनों एवं दिशानिर्देशों (सुरक्षा, छवि गुणवत्ता तथा डेटा गोपनीयता पर दिशा निर्देश सहित) का नियमित अंकेक्षण (ऑडिट) होगा।