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अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस- यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता
- जीएस पेपर 2: शासन, प्रशासन एवं चुनौतियां- विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए सरकार की नीतियां एवं अंतः क्षेप तथा उनकी अभिकल्पना एवं कार्यान्वयन से उत्पन्न होने वाले मुद्दे।
अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस-संदर्भ
- अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस का आयोजन संस्कृति मंत्रालय द्वारा इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र (आईजीएनसीए) एवं यूनेस्को नई दिल्ली संकुल कार्यालय के सहयोग से किया जा रहा है।
- इस वर्ष अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस आजादी का अमृत महोत्सव के तत्वावधान में मनाया जा रहा है।
अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस – प्रमुख बिंदु
- पृष्ठभूमि: अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाने का विचार सर्वप्रथम बांग्लादेश से उद्भूत हुआ था।
- संयुक्त राष्ट्र शैक्षिक, वैज्ञानिक एवं सांस्कृतिक संगठन (यूनाइटेड नेशन एजुकेशनल साइंटिफिक एंड कल्चरल ऑर्गेनाइजेशन/यूनेस्को) कि सामान्य महासभा ने 21 फरवरी को 2000 में अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया।
- अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के बारे में: भाषाई एवं सांस्कृतिक विविधता के बारे में जागरूकता को बढ़ावा देने तथा बहुभाषावाद को प्रोत्साहित करने हेतु प्रत्येक वर्ष 21 फरवरी को संपूर्ण विश्व में अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाया जाता है।
- आयोजन प्राधिकरण: यूनेस्को को प्रत्येक वर्ष अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस का आयोजन करने का उत्तरदायित्व सौंपा गया है।
- थीम: अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाने के लिए प्रत्येक वर्ष यूनेस्को द्वारा एक विशिष्ट विषय वस्तु (थीम) का चयन किया जाता है।
अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस 2022: प्रमुख बिंदु
- अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस 2022 की विषय वस्तु: वर्ष 2022 के लिए विषय वस्तु है: “बहुभाषी शिक्षा के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग करना: चुनौतियां एवं अवसर”( यूजिंग टेक्नोलॉजी फॉर मल्टीलिंगुअल लर्निंग चैलेंजेज एंड ऑपच्यरुनिटीज)।
- फोकस क्षेत्र: अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस 2022 बहुभाषी शिक्षा को आगे बढ़ाने एवं सभी के लिए गुणवत्तापूर्ण शिक्षण तथा अधिगम के विकास का समर्थन करने हेतु प्रौद्योगिकी की संभावित भूमिका पर केंद्रित है।
- भारत में अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस 2022:
- इसका आयोजन भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय द्वारा किया जा रहा है।
- भारत में स्वदेशी भाषाओं को संरक्षित, सुरक्षित तथा प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से भारत “अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस” मना रहा है।
- भारत के लोगों एवं समुदायों को बहुभाषी विविधता के संरक्षण तथा परिरक्षण हेतु एक साथ आना होगा जो भारत की सांस्कृतिक संपदा का एक हिस्सा है।