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आधारभूत शिक्षा के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत जादूई पिटारा क्या है?
इस लेख में, ”आधारभूत शिक्षा के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत जादूई पिटारा क्या है?”, हम जादूई पिटारा की पृष्ठभूमि, जादूई पिटारा का उद्देश्य, जादूई पिटारा क्या है?, जादूई पिटारा की प्रमुख विशेषताएं इत्यादि के बारे में पढ़ेंगे।
जादुई पिटारा चर्चा में क्यों है?
- 20 फरवरी, 2023 को शिक्षा मंत्रालय ने जादुई पिटारा का विमोचन किया।
- यह एक नाटक-आधारित शिक्षण-अध्यापन सामग्री है।
- ‘जादुई पिटारा’ तीन से आठ वर्ष के आयु के बच्चों के लिए है।
जादुई पिटारा की पृष्ठभूमि
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति (नेशनल एजुकेशन पॉलिसी/एनईपी) 2020 में 5+3+3+4 पाठ्यक्रम शैक्षणिक संरचना की परिकल्पना की गई है।
- शिक्षा मंत्रालय के तहत स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग ने प्रत्येक चरण के लिए राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा विकसित करने के लिए प्रो. के. कस्तूरीरंगन की अध्यक्षता में एक राष्ट्रीय संचालन समिति का गठन किया है।
- 20 अक्टूबर 2022 को शिक्षा मंत्रालय द्वारा आधारभूत चरण के लिए राष्ट्रीय पाठ्यचर्या रूपरेखा (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क/NCF) का विमोचन किया गया था एवं पाठ्यक्रम की रूपरेखा के अनुसार, NCERT ने अधिगम शिक्षण सामग्री ( लर्निंग टीचिंग मटेरियल/LTM) विकसित तथा एकत्र की है।
- तदनुसार, “जादुई पिटारा” की अवधारणा का उपयोग करते हुए शिक्षा मंत्री द्वारा मूलभूत चरण के लिए “अधिगम शिक्षण सामग्री” लॉन्च की गई थी।
जादुई पिटारा का उद्देश्य
- ‘जादुई पितारा’ योजना के साथ, सरकार का लक्ष्य सीखने-सिखाने के वातावरण को संवर्धित करना है एवं इसे देश की ‘अमृत पीढ़ी’ के लिए अधिक बाल-केंद्रित, जीवंत एवं आनंदमय बनाना है।
- राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (नेशनल काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग/एनसीईआरटी) सभी राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (स्टेट काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग/एससीईआरटी) तक अपनी पहुंच का विस्तार करने के लिए सभी भारतीय भाषाओं में ‘जादुई पिटारा’ में सामग्री का अनुवाद करने के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठाएगी।
- यह भारत में आरंभिक बाल्यावस्था की शिक्षा को रूपांतरित कर देगा।
‘जादुई पिटारा‘ क्या है?
- ‘जादुई पिटारा’ या ‘मैजिक कलेक्शन’ राष्ट्रीय शिक्षा नीति (नेशनल एजुकेशन पॉलिसी/एनईपी) 2020 द्वारा अनुशंसित राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क फॉर फाउंडेशनल स्टेज/एनसीएफ-एफएस) के पाठ्यचर्या लक्ष्यों के तहत विकसित एक नाटक-आधारित शिक्षण एवं अधिगम की सामग्री है।
- इसे किसी भी विद्यालय में आधारभूत स्तर की शिक्षा के लिए आवश्यक सामग्री के उदाहरण के रूप में विकसित किया गया है।
- अपेक्षा है कि ‘जादुई पिटारा’ राष्ट्रीय शिक्षा नीति एवं एनसीएफ-एफएस को शिक्षकों तथा छात्रों के हाथों व्यवहार में लाएगा।
जादूई पिटारा में क्या सम्मिलित है?
- ‘जादुई पिटारा’ इसमें खिलौने, खेल, पहेलियाँ, कठपुतली, कहानी/कविता पोस्टर, फ्लैश कार्ड, पोस्टर, कहानी कार्ड, प्लेबुक, एक्टिविटी बुक, बच्चों के लिए वर्क शीट एवं शिक्षकों तथा प्रशिक्षकों के लिए हैंडबुक शामिल हैं।
- इन सामग्रियों को सकारात्मक व्यवहार के विकास सहित छह विकासात्मक क्षेत्र में विकसित किया गया है। इसके अतिरिक्त, बॉक्स पुनर्नवीनीकरण सामग्री से निर्मित है। बॉक्स में अधिकांशतः खिलौने स्थानीय कारीगरों से लिए गए हैं।
- ‘जादुई पिटारा’ पर संसाधन दीक्षा प्लेटफॉर्म – पोर्टल एवं मोबाइल ऐप पर डिजिटल रूप से उपलब्ध होंगे। माता-पिता एवं छात्र http://www.diksha.gov.in पर सामग्री का उपयोग कर सकते हैं अथवा गूगल प्ले स्टोर पर उपलब्ध ऐप डाउनलोड कर सकते हैं।
जादुई पिटारा की प्रमुख विशेषताएं
- राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क फॉर फाउंडेशनल स्टेज/एनसीएफ-एफएस) का मुख्य परिवर्तनकारी पहलू – ‘खेल के माध्यम से सीखें’
- आधारभूत चरण: खेल के माध्यम से सर्वोत्तम एवं प्रभावी ढंग से सीखने के लिए आयु 3 से 8 वर्ष
- शिक्षा के लिए तंत्रिका विज्ञान जैसे विविध क्षेत्रों से अनुसंधान
- कक्षा 1 और 2 पर भी लागू होता है (6-8 आयु वर्ष): खेल के माध्यम से बच्चों को सीखने हेतु एक बड़ा बदलाव।
- 5 क्षेत्रों में अधिगम तथा विकास:
- शारीरिक विकास
- सामाजिक-भावनात्मक एवं नैतिक विकास
- ज्ञान संबंधी विकास
- भाषा एवं साक्षरता विकास
- सौंदर्य एवं सांस्कृतिक विकास
- सीखने की सकारात्मक आदतें (इस स्तर पर विकास के एक अन्य क्षेत्र के रूप में शामिल)
- खेल सक्षम करने हेतु: केवल पुस्तकें ही नहीं, शिक्षण एवं अधिगम (सीखने एवं सिखाने) के लिए संसाधनों की एक विस्तृत श्रृंखला का उपयोग किया जाना है। इसमें खिलौने, पहेलियाँ, कठपुतलियाँ, पोस्टर, फ्लैश कार्ड, वर्क शीट एवं आकर्षक पुस्तकें शामिल हैं
- विविधता तथा स्थानीय संसाधनों को समायोजित करने हेतु इसमें लोचशीलता है।
जादुई पिटारा योजना के संदर्भ में प्रायः पूछे जाने वाले प्रश्न
प्रश्न. ‘जादुई पिटारा’ क्या है?
उत्तर. ‘जादुई पिटारा’ या ‘मैजिक कलेक्शन’ राष्ट्रीय शिक्षा नीति (नेशनल एजुकेशन पॉलिसी/एनईपी) 2020 द्वारा अनुशंसित राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क फॉर फाउंडेशनल स्टेज/एनसीएफ-एफएस) के पाठ्यचर्या लक्ष्यों के तहत विकसित एक नाटक-आधारित शिक्षण एवं अधिगम की सामग्री है।
प्रश्न. राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत मूलभूत चरण के लिए शिक्षण अधिगम सामग्री (लर्निंग टीचिंग मटेरियल/LTM) को किसने विकसित किया?
उत्तर. आधारभूत चरण के लिए राष्ट्रीय पाठ्यचर्या ढांचा (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क/NCF) को शिक्षा मंत्रालय द्वारा 20 अक्टूबर 2022 को विमोचित किया गया था एवं पाठ्यक्रम की रूपरेखा के अनुसार, NCERT ने शिक्षण शिक्षण सामग्री (LTM) विकसित तथा एकत्र की है।
प्रश्न. जादुई पिटारा योजना में क्या सम्मिलित है?
उत्तर. ‘जादुई पिटारा’ में खिलौने, खेल, पहेलियाँ, कठपुतली, कहानी/कविता पोस्टर, फ्लैश कार्ड, पोस्टर, कहानी कार्ड, प्लेबुक, एक्टिविटी बुक, बच्चों के लिए वर्क शीट एवं शिक्षकों तथा प्रशिक्षकों के लिए हैंडबुक शामिल हैं।