Home   »   COVID19 Pandemic: Omicron variant EXPLAINED   »   ओमीश्योर | सार्स कोव-2 के ओमिक्रोन...

ओमीश्योर | सार्स कोव-2 के ओमिक्रोन वेरिएंट का पता लगाने हेतु परीक्षण किट

ओमीश्योर- यूपीएससी परीक्षा हेतु प्रासंगिकता

  • जीएस पेपर 3: विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी- विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी में भारतीयों की उपलब्धियां; प्रौद्योगिकी का स्वदेशीकरण तथा नवीन तकनीक विकसित करना।

UPSC Current Affairs

ओमीश्योर- प्रसंग

  • हाल ही में, भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने सार्स कोव-2 कोरोनावायरस के ओमिक्रोन वेरिएंट का पता लगाने के लिए एक परीक्षण किट को अपनी स्वीकृति प्रदान की है।

 

ओमीश्योर- प्रमुख बिंदु

  • ओमीश्योर के बारे में: ओमीश्योर एक आरटी-पीसीआर किट है जिसका प्रयोग एस-जीन टारगेट फेल्योर (एसजीटीएफ) विधि के साथ मरीजों में कोविड वायरस के ओमिक्रोन संस्करण की पुष्टि हेतु किया जाएगा।
  • ओमीश्योर किट का विकास: किट का निर्माण टाटा मेडिकल एंड डायग्नोस्टिक्स द्वारा किया गया है एवं इसे ओमीश्योर नाम प्रदान किया गया है।
    • भारत में ओमाइक्रोन का पता लगाने हेतु वर्तमान में उपयोग की जाने वाली किट को यू.एस. स्थित वैज्ञानिक उपकरण कंपनी थर्मो फिशर द्वारा विकसित किया गया है।
    • यह भी वैरिएंट का पता लगाने हेतु एसजीटीएफ विधि का उपयोग करता है।

 

ओमीश्योर- संबद्ध विशेषताएं 

  • सार्वजनिक स्वास्थ्य हेतु महत्वपूर्ण: ओमीश्योर टेस्ट किट जैसी नैदानिक ​​सेवाएं सार्वजनिक स्वास्थ्य के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं।
    • प्रकोप के दौरान, रोग के प्रसार को रोकने/कम करने हेतु सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रतिक्रिया का मार्गदर्शन करने एवं उसे तैयार करने के लिए समय पर जानकारी की आवश्यकता होती है।
  • अनुपलब्धता को कम करना: ओमीश्योर के विकास से भारत एवं विश्व स्तर पर कोविड-19 नैदानिक उपकरण (डायग्नोस्टिक्स टूल) तक पहुंच में असमानताओं को दूर करने में सहायता प्राप्त होगी।

UPSC Current Affairs

अतिरिक्त जानकारी: दक्षिण पूर्व एशिया में सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम

  • सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम के बारे में: बढ़ते ओमाइक्रोन मामलों के संदर्भ में, डब्ल्यूएचओ इस वर्ष दक्षिण पूर्व एशिया में एक सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम स्थापित करने का प्रस्ताव कर रहा है।
  • प्रमुख अधिदेश:
    • सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम जीनोमिक अनुक्रमण एवं अवेक्षण (निगरानी) को बढ़ाने में सहायता करेगा।
    • सार्स कोव-2 संघ महामारी (एपिडेमिक्स) एवं विश्वव्यापी महामारी (पैन्डेमिक्स) के लिए सार्स कोव-2 वायरल खतरों के विकास का पता लगाने एवं अनुश्रवण हेतु एक सुदृढ़ क्षेत्रीय प्रणाली विकसित करेगा।
  • सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम का महत्व:
    • सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम सार्वजनिक स्वास्थ्य निर्णय निर्माण हेतु जीनोमिक डेटा के समय पर उपयोग में सुधार करने में सहायता करेगा।
    • सार्स कोव-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम का उद्देश्य भविष्य के प्रकोपों/महामारी के लिए तैयारियों एवं प्रतिक्रिया को सुदृढ़ करना है, समूह द्वारा जारी एक विज्ञप्ति ने इस तथ्य को भी जोड़ा।
रानी वेलु नचियार- तमिलनाडु की झांसी रानी भारत की गिरती बेरोजगारी दर एवं रोजगार का जोखिम- सीएमआईई निष्कर्ष व्यापार समझौतों के प्रकार ऑफलाइन डिजिटल भुगतान: भारतीय रिजर्व बैंक ने दिशानिर्देश जारी किए
संपादकीय विश्लेषण: शासन में सहायता प्रौद्योगिकी हेतु राष्ट्रीय शैक्षिक गठबंधन (नीट) योजना जलवायु परिवर्तन जागरूकता अभियान एवं राष्ट्रीय फोटोग्राफी प्रतियोगिता सॉलिड स्टेट लिथियम मेटल बैटरी
भुगतान संतुलन हरित हाइड्रोजन की प्राकृतिक गैस के साथ सम्मिश्रण की सरकार की योजना जिला सुशासन सूचकांक (डीजीजीआई) | जम्मू-कश्मीर में होगा जिला स्तरीय शासन सूचकांक संपादकीय विश्लेषण- क्रिप्टो परिसंपत्ति समस्या

Sharing is caring!

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *