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प्रधान मंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) – यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता
- जीएस पेपर 2: शासन, प्रशासन एवं चुनौतियां
- विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए सरकारी नीतियां एवं अंतः क्षेप तथा उनकी अभिकल्पना एवं कार्यान्वयन से उत्पन्न होने वाले मुद्दे।
प्रधान मंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) चर्चा में क्यों है?
- हाल ही में, प्रधान मंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) – वित्तीय समावेशन के लिए राष्ट्रीय मिशन, ने सफलतापूर्वक कार्यान्वयन के आठ वर्ष पूर्ण किए।
प्रधान मंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) का प्रदर्शन
प्रधानमंत्री जनधन योजना के अंतर्गत खाते
- 10 अगस्त ’22 को पीएमजेडीवाई के अंतर्गत कुल खातों की संख्या: 25 करोड़; 55.59% (25.71 करोड़) जन-धन खाताधारक महिलाएं हैं एवं 66.79% (30.89 करोड़) जन धन खाते ग्रामीण तथा अर्ध-शहरी क्षेत्रों में हैं।
- योजना के प्रथम वर्ष के दौरान 17.90 करोड़ प्रधानमंत्री जनधन योजना खाते खोले गए।
- पीएमजेडीवाई के तहत खातों की संख्या में निरंतर वृद्धि: प्रधानमंत्री जनधन योजना के अंतर्गत खाते मार्च 2015 में 14.72 करोड़ से तीन गुना बढ़कर 10-08-2022 तक 46.25 करोड़ हो गए हैं।
पीएमजेडीवाई के अंतर्गत क्रियाशील खाते
- भारतीय रिजर्व बैंक ( रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया/आरबीआई) के वर्तमान दिशानिर्देशों के अनुसार, प्रधानमंत्री जन धन योजना खाते को निष्क्रिय माना जाता है यदि खाते में दो वर्ष से अधिक समय तक कोई ग्राहक प्रेरित लेनदेन नहीं होता है।
- अगस्त 2022 में प्रधानमंत्री जनधन योजना के कुल 46.25 करोड़ खातों में से 37.57 करोड़ (81.2%) चालू हैं मात्र 8.2 प्रतिशत पीएमजेडीवाई खाते जीरो बैलेंस खाते हैं।
पीएमजेडीवाई खातों के तहत जमा
- प्रधानमंत्री जनधन योजना खातों के तहत कुल जमा शेष 1,73,954 करोड़ रुपये है।
- खातों में 2.58 गुना वृद्धि के साथ जमाराशियों में लगभग 7.60 गुना वृद्धि हुई है।
प्रति पीएमजेडीवाई खाते में औसत जमा
- प्रति खाता औसत जमा 3,761 रुपये है।
- प्रति खाता जमा अगस्त’ 15 की तुलना में 2.9 गुना से अधिक बढ़ गया है।
PMJDY खाताधारकों को जारी किया गया रुपे कार्ड
- प्रधानमंत्री जनधन योजना के खाताधारकों को जारी किए गए कुल रुपे कार्ड: 31.94 करोड़ हैं।
- रुपे कार्ड (RuPay) की संख्या एवं उनके उपयोग में समय के साथ वृद्धि हुई है।
पीएमजेडीवाई के बारे में
- प्रधान मंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) वित्तीय सेवाओं अर्थात्, बैंकिंग / बचत एवं जमा खाते, प्रेषण, क्रेडिट, बीमा, पेंशन तक एक किफायती रीति से पहुंच सुनिश्चित करने के लिए वित्तीय समावेशन हेतु एक राष्ट्रीय मिशन है।
प्रधानमंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) का उद्देश्य
- वहन योग्य मूल्य पर वित्तीय उत्पादों एवं सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित करना।
- प्रौद्योगिकी के उपयोग के माध्यम से देश में लागत कम करना तथा पहुंच में वृद्धि करना।
प्रधान मंत्री जन धन योजना के लाभ
- बैंकिंग सेवाओं से रहित को बैंकिंग सेवाएं प्रदान करना- न्यूनतम कागजी कार्रवाई के साथ मूल बचत बैंक जमा (बेसिक सेविंग बैंक डिपॉजिट/बीएसबीडी) खाता खोलना, नो योर कस्टमर (केवाईसी) में छूट, ई-केवाईसी, कैंप मोड में खाता खोलना, शून्य शेष एवं शून्य शुल्क
- असुरक्षित को सुरक्षित करना – 2 लाख रुपये के निशुल्क दुर्घटना बीमा कवरेज के साथ, व्यापारिक स्थानों पर नकद निकासी एवं भुगतान के लिए स्वदेशी डेबिट कार्ड जारी करना।
- गैर-वित्त पोषित को वित्त पोषण प्रदान करना- अन्य वित्तीय उत्पादों जैसे सूक्ष्म बीमा, उपभोग हेतु ओवरड्राफ्ट (खाते में जमा से अधिक रकम निकालना), सूक्ष्म पेंशन तथा सूक्ष्म ऋण।
पीएम जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) के स्तंभ
पीएम जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) योजना निम्नलिखित 6 स्तंभों के आधार पर प्रारंभ की गई थी:
- शाखा एवं बैंकिंग प्रतिनिधियों (बैंकिंग कॉरस्पॉडेंट्स/बीसी) के माध्यम से बैंकिंग सेवाओं तक सार्वभौमिक पहुंच।
- प्रत्येक पात्र वयस्क को 10,000/- रुपये की ओवरड्राफ्ट सुविधा के साथ मूल बचत बैंक खाते।
- वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम- बचत, एटीएम के उपयोग, क्रेडिट के लिए तैयार रहने, बीमा एवं पेंशन का लाभ उठाने, बैंकिंग के लिए बुनियादी मोबाइल फोन का उपयोग करने को प्रोत्साहित करना।
- क्रेडिट गारंटी फंड का निर्माण – बैंकों को बकाया के खिलाफ कुछ गारंटी प्रदान करना
- बीमा – 15 अगस्त 2014 से 31 जनवरी 2015 के बीच खोले गए खाते में 1,00,000 रुपये तक दुर्घटना कवर और 30,000 रुपये का जीवन बीमा कवर।
- असंगठित क्षेत्र के लिए पेंशन योजना।
नवीन सुविधाओं के साथ पीएम जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) का विस्तार
- सरकार ने कुछ संशोधनों के साथ व्यापक प्रधानमंत्री जन धन योजना कार्यक्रम को 28.8.2018 से आगे बढ़ाने का निर्णय लिया।
- ‘हर घर’ से हटकर ‘प्रत्येक बैंक रहित वयस्क’ पर ध्यान दिया गया।
- रुपे कार्ड बीमा – 28.8.2018 के बाद खोले गए पीएमजेडीवाई खातों के लिए रुपे कार्ड पर निशुल्क दुर्घटना बीमा कवर 1 लाख रुपये से बढ़ाकर 2 लाख रुपये कर दिया गया है।
- ओवरड्राफ्ट (ओडी) सुविधाओं में वृद्धि –
- ओवरड्राफ्ट की सीमा 5,000/- रुपए से दोगुनी होकर 10,000/ रुपए हो गई।
- 2,000/- रुपये तक का ओवरड्राफ्ट (बिना शर्तों के)।
- ओवरड्राफ्ट के लिए ऊपरी आयु सीमा को 60 से बढ़ाकर 65 वर्ष करना।