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प्रासंगिकता
- जीएस 2: स्वास्थ्य, शिक्षा, मानव संसाधन से संबंधित सामाजिक क्षेत्र / सेवाओं के विकास एवं प्रबंधन से संबंधित मुद्दे।
प्रसंग
- हाल ही में, इलेक्ट्रॉनिक्स मंत्रालय, इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्रालय (एमईआईटीवाई) ने आजादी का अमृत महोत्सव के तहत पीएमजीदिशा अभियान एवं सभी डिजिटल गांवों की 100% डिजिटल साक्षरता की घोषणा का कार्यक्रम आरंभ किया।
पीएमजीदिशा अभियान के प्रमुख बिंदु
- अभियान के अंतर्गत ग्रामीण नागरिकों विशेषकर महिलाओं एवं वंचितों हेतु तीन दिवसीय प्रमाणन समुदाय का आयोजन किया जाएगा।
- इसी तरह से पीएमजीदिशा योजना के लिए प्रमाणन अभियान चलाया जाएगा।
- इसके अतिरिक्त, कॉमन सर्विस सेंटर (सीएससी) ने भी सभी डिजिटल गांवों को 100 प्रतिशत डिजिटल साक्षर बनाने का प्रस्ताव रखा है।
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अब तक का प्रदर्शन
- 08.2021 तक, लगभग एक करोड़ लाभार्थियों का नामांकन किया गया है एवं 4 करोड़ से अधिक लाभार्थियों को पीएमजीदिशा योजना के अंतर्गत प्रशिक्षित किया गया है।
- अब तक 5 करोड़ से अधिक महिला लाभार्थियों को पंजीकृत किया गया है जो कुल पंजीकरण संख्या का 52% है।
- उपरोक्त में से 78 करोड़ से अधिक महिला लाभार्थियों को इस योजना के अंतर्गत प्रमाणित किया गया है जो कि पीएमजीदिशा योजना के अंतर्गत कुल प्रमाणित लाभार्थियों का 54% है।
पीएमजीदिशा
पीएमजीदिशा के बारे में
- प्रधानमंत्री ग्रामीण डिजिटल साक्षरता अभियान (पीएमजीदिशा) ग्रामीण भारत में डिजिटल साक्षरता लाने हेतु डिजिटल इंडिया कार्यक्रम के अंतर्गत एक कार्यक्रम है।
- इस योजना के अंतर्गत, ग्रामीण क्षेत्रों में 6 करोड़ परिवारों को आच्छादित किया जाएगा एवं 03.2022 तक डिजिटल रूप से साक्षर बनाया जाएगा।
- न्यायसंगत भौगोलिक पहुंच सुनिश्चित करने के लिए, देश भर में 2,50,000 ग्राम पंचायतों में से प्रत्येक के लिए औसतन 200-300 उम्मीदवारों को पंजीकृत करने की परिकल्पना की गई है।
पात्रता
- यह योजना मात्र देश के ग्रामीण क्षेत्रों के लिए लागू है।
- ऐसे सभी परिवार जहां परिवार का कोई भी सदस्य डिजिटल रूप से साक्षर नहीं है, इस योजना के अंतर्गत पात्र परिवार माने जाएंगे।
- प्रति पात्र परिवार में से मात्र एक व्यक्ति को प्रशिक्षण हेतु विचार किया जाएगा।
- परिवार के 14 से 60 वर्ष के आयु वर्ग के सभी सदस्यों को इसमें सम्मिलित किया जाएगा।
- अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, बीपीएल, महिलाओं, विकलांग व्यक्तियों एवं अल्पसंख्यकों को वरीयता प्रदान की जाएगी
- लाभार्थियों का अभिनिर्धारण डीजीएस (दिल्ली ई-गवर्नमेंट सोसाइटी), ग्राम पंचायतों एवं प्रखंड विकास अधिकारियों के सक्रिय सहयोग से सीएससी-एसपीवी (स्पेशल परपज व्हीकल) द्वारा किया जाएगा।