Categories: UPSC Current Affairs

Prelims Specific Articles- 6 August 2021

भू प्रेक्षण उपग्रह ईओएस-03: इसरो

http://bit.ly/2MNvT1m

 

प्रसंग

  • इसरो द्वारा 12 अगस्त को सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र, शार, श्रीहरिकोटा से एक भू प्रेक्षण उपग्रह (ईओएस-03) प्रक्षेपित किए जाने की संभावना है।
  • इसरो द्वारा प्रक्षेपित किए गए अन्य भू प्रेक्षण उपग्रहों में रिसोर्ससैट-2, 2ए, कार्टोसैट-1, 2, 2ए, 2बी, रीसैट-1 और 2, ओशनसैट-2, मेघा-ट्रॉपिक्स, सरल और स्कैटसैट-1, इन्सैट-3डीआर, 3डी,इत्यादि सम्मिलित हैं।

प्रमुख बिंदु

  • प्रक्षेपण यान: इसे जीएसएलवी एफ 10 पर वहन किया जाएगा जो उपग्रह को भू तुल्यकालिक अंतरण कक्षा (जियोसिंक्रोनस ट्रांसफर ऑर्बिट) में स्थापित करेगा।
    • उपग्रह अपने प्रस्थापित प्रणोदन प्रणाली का उपयोग करते हुए अंतिम भूस्थिर कक्षा में पहुंचेगा।
  • इस जीएसएलवी उड़ान में प्रथम बार चार मीटर व्यास वाले चाप विकर्ण (ओगिव) आकार के नीतभार (पेलोड फेयरिंग) को उड़ाया जा रहा है।
  • मुख्य अनुप्रयोग:
    • यह बाढ़ एवं चक्रवात जैसी प्राकृतिक आपदाओं की सद्य अनुक्रिया में अनुवीक्षण करने में सक्षम होगा।
    • यह संपूर्ण देश का प्रतिदिन चार-पांच बार प्रतिबिंबन करने में सक्षम है।
    • यह जल निकायों, फसलों, वनस्पति की स्थिति, वन आवरण परिवर्तन के अनुवीक्षण में भी सक्षम होगा।
  • ईओएस-01: आरबीआई द्वारा विगत वर्ष प्रक्षेपित किया गया। यह एक रडार इमेजिंग सैटेलाइट (रीसैट) है और रीसैट- 2बी और रीसैट-2 बीआर1 के साथ मिलकर कार्य करेगा।

 

https://www.adda247.com/upsc-exam/dam-rehabilitation-and-improvement-project-drip-hindi/

कृष्णा नदी

 

प्रसंग

  • भारत के मुख्य न्यायाधीश ने आंध्र प्रदेश द्वारा दायर एक याचिका पर सुनवाई से स्वयं को अलग कर लिया है जिसमें तेलंगाना पर अपने (आंध्र प्रदेश के) लोगों को पेयजल एवं सिंचाई के लिए कृष्णा नदी के पानी के अपने वैध हिस्से से वंचित करने का आरोप लगाया गया है।

मुख्य बिंदु

  • कृष्णा नदी गोदावरी नदी के बाद प्रायद्वीपीय भारत की दूसरी सर्वाधिक बड़ी नदी है।
  • उत्पत्ति: यह महाबलेश्वर के उत्तर में महाराष्ट्र के सतारा जिले के जोर गांव के समीप पश्चिमी घाट से उद्गमित होती है।
    • बंगाल की खाड़ी में अपने उद्गम स्थल से उसके मुहाने तक नदी की कुल लंबाई 1,400 किमी है
  • अवस्थिति: उत्तर में बालाघाट श्रेणी, दक्षिण एवं पूर्व में पूर्वी घाट तथा पश्चिम में पश्चिमी घाट से घिरा है।
  • नदी बेसिन: कृष्णा बेसिन आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, महाराष्ट्र और कर्नाटक तक विस्तृत है, जिसका कुल क्षेत्रफल ~2.6 लाख वर्ग किमी है।
    • बेसिन का अधिकांश भाग कृषि भूमि से आच्छादित है जो कुल क्षेत्रफल का 86 प्रतिशत है।
  • प्रमुख सहायक नदियाँ:
    • दायां तट: घाटप्रभा, मालप्रभा और तुंगभद्रा।
      • तुंगभद्रा: मध्य सह्याद्रि में गंगामूल से उद्गमित होने वाली तुंगा और भद्रा के मिलन से निर्मित।
    • बायां तट: भीमा, मूसी और मुनेरू।
      • मूसी: हैदराबाद शहर इसके तट पर अवस्थित है।
    • पट्टीसीमा लिफ्ट सिंचाई परियोजना: भारत में प्रथम नदी जोड़ो परियोजना, पोलावरम दाहिनी नहर के माध्यम से गोदावरी को कृष्णा से जोड़ना। यह गोदावरी के अधिशेष जल को कृष्णा नदी की ओर मोड़ देगा।

https://www.adda247.com/upsc-exam/prelims-specific-articles-hindi-2/

पानी माहअभियान

 

प्रसंग

  • केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख ने जल जीवन मिशन (जेजेएम) के कार्यान्वयन की गति में तीव्रता लाने एवं स्वच्छ जल के महत्व पर ग्रामीण समुदायों को प्रेरित करने एवं आस्थित करने हेतु एक  माह लंबा अभियान- ‘पानी माह’ (जल माह) आरंभ किया है।

 

मुख्य बिंदु

  • पानी माह’ प्रखंड एवं पंचायत स्तर पर दो चरणों में संचालित होगा।
  • प्रथम चरण 1 से 14 अगस्त तक संचालित होगा।
    • यहां, ग्राम जल और स्वच्छता समिति (वीडब्ल्यूएससी) / पानी समिति के सदस्यों द्वारा स्वच्छता सर्वेक्षण और स्वच्छता अभियान पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा।
    • साथ ही, जांच के लिए सभी चिन्हित स्रोतों और सेवा प्रदाता केंद्रों से पानी के नमूने लिए जाएंगे।
    • इसमें जागरूकता और संवेदीकरण अभियान भी सम्मिलित होगा।
  • द्वितीय चरण 16 से 30 अगस्त तक संचालित होगा:
    • यहां जेजेएम के अंतर्गत पानी की गुणवत्ता और सेवा वितरण पर प्रभावी संचार के लिए पानी सभाओं और घर-घर जाकर दौरा करने पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा।
    • जल गुणवत्ता परीक्षण रिपोर्ट और विश्लेषण पर ग्रामीणों के साथ खुले मंच पर चर्चा की जाएगी।
    • अभियान में ग्रामीणों की अधिकतम सहभागिता सुनिश्चित करने के लिए जल नमूना संग्रह और ग्राम सभाओं के लिए एक गाँव / प्रखंड-वार कार्यक्रम भी तैयार किया गया है।
  • अभियान त्रि-आयामी दृष्टिकोण अपनाएगा- पानी का गुणवत्ता परीक्षण, योजना और जल आपूर्ति की रणनीति निर्मित करने, तथा गांवों में पानी सभा के निर्बाध कार्य संचालन पर ध्यान केंद्रित करेगा।
  • अभियान दक्ष सेवा वितरण सुनिश्चित करेगा, जो आगे पारदर्शिता लाएगा एवं सुशासन सुनिश्चित करेगा।
  • महीने भर चलने वाले इस अभियान के माध्यम से ग्रामीण समुदायों को पानी के नमूने, गुणवत्ता जांच और निगरानी के लिए जल गुणवत्ता प्रयोगशालाओं में भेजने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
  • केंद्र शासित प्रदेश ने भी प्रथम 5 ‘हर घर जल’ गांवों के लिए प्रति गांव 5 लाख रुपए एवं प्रत्येक जिले में प्रथम हर घर जलप्रखंड को 25 लाख रुपये के पुरस्कार की घोषणा की है।

 

https://www.adda247.com/upsc-exam/essential-defence-services-bill-hindi/

 

खाद्य तेल पर राष्ट्रीय मिशन- ताड़ का तेल

 

प्रसंग

  • केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 2025-26 तक ताड़ का तेल के घरेलू उत्पादन को तीन गुना बढ़ाकर 11 लाख टन करने के लिए राष्ट्रीय खाद्य तेल – ताड़ का तेल मिशन को स्वीकृति दे दी है।

मुख्य बिंदु

  • यह खाद्य तेलों के लिए देश की आयात निर्भरता को कम करेगा।
  • अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के साथ उत्तर-पूर्वी राज्य भारत में पाम तेल के उत्पादन एवं कृषि कार्य में तीव्रता लाने के लिए – अनुकूल मौसम की स्थिति के कारण – फोकस क्षेत्र होंगे।
  • इसका उद्देश्य 2025-26 एवं 2029-30 तक ताड़ के तेल की कृषि को क्रमशः 10 लाख हेक्टेयर और 7 लाख हेक्टेयर तक बढ़ाना है।
  • पाम तेल उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए किसानों को वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी। इसी मध्य, सरकार एक सूत्र मूल्य और उत्पादन की व्यवहार्यता लागत का आकलन करेगी।
  • यह कदम इसलिए आवश्यक हो गया है क्योंकि सरकार ने 2020-21 में 5 लाख टन खाद्य तेल आयात करने के लिए करीब 80,000 करोड़ रुपये व्यय किए हैं।

https://www.adda247.com/upsc-exam/issue-of-surveillance-in-india-pegasus-spyware-associated-concerns-and-way-ahead-hindi/

अतिरिक्त सूचना

  • ताड़ का तेल:
    • यह एक खाद्य वनस्पति तेल है जो ताड़ के वृक्ष से प्राप्त होता है।
    • यह कुछ अत्यंत संतृप्त वनस्पति वसाओं में से एक है।
    • इसमें अनुप्रयोगों की एक विस्तृत श्रृंखला है। इसका उपयोग खाद्य उत्पादों, सौंदर्य उत्पादों और जैव ईंधन में किया जा सकता है।
    • इसके न्यूनतम मूल्य के कारण इसे संपूर्ण विश्व में व्यापक रूप से उपयोग किया जाता है।
    • इंडोनेशिया विश्व में पाम तेल का सर्वाधिक बड़ा उत्पादक है।
    • भारत में, आंध्र प्रदेश एवं तेलंगाना देश के कुल कच्चे पाम तेल का लगभग 97% उत्पादन करते हैं।
    • ताड़ के तेल को रबर और कॉफी की तरह एक बागानी फसल के रूप में वर्गीकृत नहीं किया जाता है। इसने हमारे देश में ताड़ के तेल के विकास को अवरुद्ध कर दिया है।

 

https://www.adda247.com/upsc-exam/prelims-specific-articles-hindi/

 

 

 

manish

Recent Posts

Federalism In Indian Polity UPSC, Federal Features of Indian Constitution

Federalism in India means that power is shared between the central government and individual states.…

5 hours ago

UPSC Mains Syllabus 2024, Check out Topic wise Syllabus PDF

UPSC Mains Syllabus is a crucial part of the Civil Services examination because it covers…

12 hours ago

UKPSC Admit Card 2024 Out, Get Link to Download PDF

The UKPSC Admit Card 2024 has been declared by Uttarakhand Public Service Commission (UKPSC) on the official…

13 hours ago

What is IAS Salary 2024, Grade Pay, and Salary Structure

Being an IAS officer involves significant responsibility, accompanied by a favorable salary package. IAS officers…

14 hours ago

UPSC Mains Exam Date 2024 Out, Check UPSC CSE Exam

The highly reputed exam of India "UPSC" is conducted  every year to recruit for the…

14 hours ago

UPPSC Salary 2024, Check PCS In Hand Salary, Allowance and Perks

The Uttar Pradesh Public Service Commission (UPPSC) conducts the UPPSC Exam annually. UPPSC Salary 2024…

17 hours ago