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सतत पर्वतीय विकास सम्मेलन (सस्टेनेबल माउंटेन डेवलपमेंट समिट/एसएमडीएस) 2022

सतत पर्वतीय विकास सम्मेलन (सस्टेनेबल माउंटेन डेवलपमेंट समिट/एसएमडीएस) – यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता

  • जीएस पेपर 3: पर्यावरण- संरक्षण, पर्यावरण प्रदूषण एवं क्षरण।

हिंदी

सतत पर्वतीय विकास शिखर सम्मेलन (एसएमडीएस)

  • केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री ने 10-12 अक्टूबर, 2022 तक लेह, लद्दाख केंद्र शासित प्रदेश में आयोजित होने वाले सतत पर्वतीय विकास शिखर सम्मेलन-XI, (SMDS-XI) के उद्घाटन सत्र में भाग लिया।

 

सस्टेनेबल माउंटेन डेवलपमेंट समिट (SMDS)

  • सतत पर्वतीय विकास सम्मेलन (सस्टेनेबल माउंटेन डेवलपमेंट समिट/एसएमडीएस) के बारे में: सतत पर्वतीय विकास सम्मेलन (SMDS)  एकीकृत पर्वतीय पहल (इंटीग्रेटेड माउंटेन इनिशिएटिव/IMI) का एक प्रमुख वार्षिक आयोजन है, जो भारतीय हिमालयी क्षेत्र (इंडियन हिमालयन रीजन/IHR) में कार्यरत एक नागरिक समाज के नेतृत्व वाला मंच है।
    • भारतीय हिमालयी क्षेत्र (IHR) में 10 पर्वतीय राज्य, दो केंद्र शासित प्रदेश एवं चार पहाड़ी जिले शामिल हैं।
    • प्रत्येक वर्ष 3-5 प्रमुख विषयों पर तत्काल ध्यान आकर्षित करने एवं पर्वतों तथा पहाड़ियों के लिए प्रासंगिक चर्चा और बहस के लिए उठाए जाते हैं।
    • इस अभ्यास से निकलने वाले निष्कर्षों एवं संस्तुतियों को बाद में कार्रवाई योग्य निर्गम (आउटपुट) के लिए आईएमआई द्वारा अनुकरण किया जाता है।
  • घटक: केंद्रीय आयोजन के अतिरिक्त, सतत पर्वतीय विकास शिखर सम्मेलन (एसएमडीएस) के दो अभिन्न घटकों में सम्मिलित हैं-
    • माउंटेन विधि निर्माता बैठक (माउंटेन लेजिस्लेटर्स सम्मिट/एमएलएम) एवं
    • भारतीय हिमालयी युवा सम्मेलन (इंडियन हिमालयन यूथ समिट)
  • थीम: SMDS-XI की थीम ‘सतत पर्वतीय विकास के लिए पर्यटन का दोहन’ (हार्नेसिंग टूरिज्म फॉर सस्टेनेबल माउंटेन डेवलपमेंट) है।
  • फोकस क्षेत्र: एसएमडीएस 2022 सम्मेलन का मुख्य फोकस पर्यटन के नकारात्मक प्रभावों को कम करना है, जबकि जलवायु एवं सामाजिक-पारिस्थितिक लोचशीलता तथा धारणीयता के निर्माण में इसके सकारात्मक योगदान का उपयोग करना है।
  • भागीदारी: प्रत्येक सम्मेलन में 200-300 प्रतिभागी उपस्थित थे, जो नीति निर्माताओं, प्रख्यात वैज्ञानिकों, शोधकर्ताओं, शिक्षाविदों, अनुसंधान एवं शैक्षणिक संस्थानों, सरकारी प्रतिनिधियों, विधि निर्माताओं इत्यादि के विविध मिश्रण का प्रतिनिधित्व करते थे।

 

विगत सतत पर्वतीय विकास सम्मेलन

 

एसएमडीएस विषयगत फोकस
एसएमडीएस- I (2011), नैनीताल जलविद्युत, जलवायु परिवर्तन के तहत अनुकूलन उपाय, ग्रामीण पर्यटन, सामुदायिक वानिकी
एसएमडीएस-II (2012), गंगटोक जल, वन एवं समुदाय, पर्वतीय आजीविका
एसएमडीएस-III (2013), कोहिमा वन, जल: नदियाँ, धाराएं तथा जलप्रपात, पर्वतीय कृषि
एसएमडीएस-IV (2015), ईटानगर आपदा जोखिम न्यूनीकरण, पर्वतीय कृषि, वन
एसएमडीएस-V (2016), लेह जल सुरक्षा,पर्वतों में विकास के लिए कौशल
एसएमडीएस-VI (2017), आइजोल जलवायु परिवर्तन एवं सतत पर्वतीय शहर

 

एसएमडीएस-VII (2018), सोलन भारतीय हिमालयी क्षेत्र में किसानों की अगली पीढ़ी का कल्याण
एसएमडीएस-VIII (2019), शिलांग युवाओं के लिए आजीविका तथा उद्यमिता

 

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