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केंद्रीय बजट 2022-23: यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता
- जीएस पेपर 3: भारतीय अर्थव्यवस्था- सरकारी बजट।
केंद्रीय बजट 2022-23: संदर्भ
- हाल ही में, केंद्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट मामलों के मंत्री ने संसद में केंद्रीय बजट 2022-23 प्रस्तुत किया।
- केंद्रीय बजट व्यष्टि-आर्थिक (माइक्रो-इकोनॉमिक) स्तर के सर्व-समावेशी कल्याण पर ध्यान केंद्रित करते हुए समष्टि-आर्थिक (मैक्रो-इकोनॉमिक) स्तर के विकास को पूरक बनाना चाहता है।
केंद्रीय बजट 2022-23 मुख्य विशेषताएं: प्रत्यक्ष करों के बारे में मुख्य बिंदु
- स्थिर और पूर्वानुमेय कर व्यवस्था की नीति को आगे बढ़ाने के लिए:
- एक विश्वसनीय कर व्यवस्था स्थापित करने हेतु दृष्टिकोण।
- कर प्रणाली को और सरल बनाने एवं मुकदमेबाजी को कम करने हेतु।
- नवीन अद्यतन ‘आयकर विवरणी’( ‘अपडेटेड रिटर्न‘)
- अतिरिक्त कर के भुगतान पर आयकर की अद्यतन विवरणी दाखिल करने का प्रावधान।
- निर्धारिती को पहले छूटी हुई आय की घोषणा करने में सक्षम बनाएगा।
- प्रासंगिक निर्धारण वर्ष की समाप्ति से दो वर्षों के भीतर दाखिल किया जा सकता है।
- सहकारी समितियां
- सहकारिताओं द्वारा भुगतान किया जाने वाला वैकल्पिक न्यूनतम कर 5 प्रतिशत से घटाकर 15 प्रतिशत किया गया।
- सहकारी समितियों एवं कंपनियों के मध्य एक समान अवसर प्रदान करना।
- 1 करोड़ रुपये से अधिक एवं 10 करोड़ रुपये तक की कुल आय वाले सहकारी समितियों के लिए अधिभार 12 प्रतिशत से घटाकर 7 प्रतिशत किया गया।
- विकलांग जनों को कर राहत
- माता-पिता/अभिभावकों के जीवनकाल के दौरान, अर्थात 60 वर्ष की आयु प्राप्त करने वाले माता-पिता/अभिभावकों पर विकलांग आश्रितों को बीमा योजना से वार्षिकी एवं एकमुश्त राशि का भुगतान।
- राष्ट्रीय पेंशन योजना अंशदान में समानता
- राज्य सरकार के कर्मचारियों के एनपीएस खाते में नियोक्ता के योगदान पर कर कटौती की सीमा 10 प्रतिशत से बढ़ाकर 14 प्रतिशत कर दी गई है।
- उन्हें केंद्र सरकार के कर्मचारियों के समतुल्य लाता है।
- सामाजिक सुरक्षा लाभों को बढ़ाने में सहायता करेगा।
- स्टार्ट-अप्स के लिए प्रोत्साहन
- कर लाभ प्राप्त करने के लिए पात्र स्टार्ट-अप के लिए समावेशन की अवधि एक वर्ष बढ़ाकर 03.2023 तक कर दी गई है।
- पूर्व में समावेशन की अवधि 03.2022 तक वैध थी।
- रियायती कर व्यवस्था के तहत प्रोत्साहन
- धारा 115 बीएबी के अंतर्गत निर्माण या उत्पादन प्रारंभ करने की अंतिम तिथि एक वर्ष अर्थात 31 मार्च, 2023 से बढ़ाकर 31 मार्च, 2024 कर दी गई है।
- आभासी डिजिटल परिसंपत्ति के कराधान हेतु योजना
- आभासी डिजिटल परिसंपत्तियों के लिए विशिष्ट कर व्यवस्था प्रारंभ की गई।
- किसी भी आभासी डिजिटल परिसंपत्ति के हस्तांतरण से होने वाली आय पर 30 प्रतिशत की दर से कर लगेगा।
- अधिग्रहण की लागत को छोड़कर ऐसी आय की गणना करते समय किसी भी व्यय या भत्ते के संबंध में कोई कटौती अनुमन्य नहीं है।
- आभासी डिजिटल परिसंपत्ति के हस्तांतरण से होने वाली हानि को किसी अन्य आय के विरुद्ध समायोजित नहीं किया जा सकता है।
- लेन-देन के विवरण प्राप्त करने के लिए, एक मौद्रिक सीमा से ऊपर इस प्रकार की क्षतिपूर्ति के 1 प्रतिशत की दर से आभासी डिजिटल परिसंपत्ति के हस्तांतरण के संबंध में किए गए भुगतान पर टीडीएस प्रदान किया जाना है।
- आभासी डिजिटल परिसंपत्ति के उपहार पर भी प्राप्तकर्ता के ऊपर कर लगाया जाएगा।
- मुकदमेबाजी प्रबंधन
- ऐसे मामलों में जहां विधि का प्रश्न उच्च न्यायालय या सर्वोच्च न्यायालय में लंबित एक वाद के समान है, विभाग द्वारा अपील दायर करने को तब तक के लिए स्थगित कर दिया जाएगा जब तक कि न्यायालय द्वारा विधि के ऐसे प्रश्न का निर्णय नहीं किया जाता है।
- करदाताओं एवं विभाग के मध्य बार-बार होने वाले मुकदमों को कम करने में अत्यधिक सहायता करना।
- आईएफएससी को कर प्रोत्साहन
- निर्दिष्ट शर्तों के अधीन, निम्नलिखित को कर से उन्मुक्ति / छूट प्रदान की जाएगी
- अपतटीय व्युत्पाद लिखतों से प्राप्त अनिवासी की आय।
- एक अपतटीय बैंकिंग इकाई द्वारा जारी किए गए असूचीबद्ध डेरिवेटिव से आय।
- स्वत्व शुल्क (रॉयल्टी) से आय एवं जहाज के पट्टे के कारण प्राप्त ब्याज।
- आईएफएससी में पोर्टफोलियो प्रबंधन सेवाओं से प्राप्त आय।
- अधिभार का युक्तिकरण
- एओपी पर अधिभार (एक अनुबंध को निष्पादित करने हेतु गठित संघ) की सीमा 15 प्रतिशत निर्धारित की गई है।
- अलग-अलग कंपनियों एवं एओपी के मध्य अधिभार में असमानता को कम करने के लिए किया गया।
- किसी भी प्रकार की परिसंपत्ति के हस्तांतरण पर उत्पन्न होने वाले दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ पर अधिभार 15 प्रतिशत पर सीमित किया गया है।
- स्टार्ट-अप समुदाय को बढ़ावा देने हेतु।
- स्वास्थ्य एवं शिक्षा उपकर
- आय एवं लाभ पर कोई अधिभार या उपकर व्यवसाय व्यय के रूप में स्वीकार्य नहीं है।
- कर अपवंचन के प्रति रोकथाम
- जांच एवं सर्वेक्षण कार्यों के दौरान ज्ञात हुई अघोषित आय के विरुद्ध किसी नुकसान की कोई क्षतिपूर्ति नहीं की जाएगी।
- टीडीएस प्रावधानों को युक्तिसंगत बनाना
- व्यवसाय प्रोत्साहन रणनीति के रूप में एजेंटों को प्रदान किए जाने वाले लाभ एजेंटों के ऊपर कर योग्य होंगे।
- लाभ प्रदान करने वाले व्यक्तियों को कर कटौती प्रदान की जाती है, यदि इस तरह के लाभों का कुल मूल्य वित्तीय वर्ष के दौरान 20,000 रुपये से अधिक है।
केंद्रीय बजट 2022-23 मुख्य विशेषताएं: अप्रत्यक्ष कर
- जीएसटी में उल्लेखनीय प्रगति
- महामारी के बावजूद जीएसटी राजस्व में उछाल है – इस वृद्धि के लिए करदाता प्रशंसा के पात्र हैं।
- विशेष आर्थिक क्षेत्र
- विशेष आर्थिक क्षेत्रों ( स्पेशल इकोनॉमिक जोन/सेज) का सीमा शुल्क प्रशासन सीमा शुल्क राष्ट्रीय पोर्टल (कस्टम्स नेशनल पोर्टल) पर 30 सितंबर 2022 से पूर्ण रुप से सूचना प्रौद्योगिकी संचालित एवं कार्यरत होगा ।
- सीमा शुल्क सुधार एवं प्रशुल्क दर में परिवर्तन
- फेसलेस कस्टम्स पूर्ण रूप से स्थापित हो गया है। कोविड -19 महामारी के दौरान, सीमा शुल्क संरचनाओं ने स्फूर्ति एवं उद्देश्य प्रदर्शित करने वाली सभी बाधाओं के विरुद्ध अग्रिम पंक्ति का असाधारण कार्य किया है।
- परियोजना आयात एवं पूंजीगत वस्तुएं
- पूंजीगत वस्तुओं एवं परियोजना आयातों में रियायती दरों को क्रमिक रूप से समाप्त करना तथा – घरेलू क्षेत्र एवं ‘मेक इन इंडिया’ के विकास के लिए अनुकूल 5 प्रतिशत का मध्यम प्रशुल्क (टैरिफ) लागू करना।
- देश के भीतर निर्मित नहीं होने वाली उन्नत मशीनरी के लिए कुछ उन्मुक्तियां (छूट) जारी रहेगी।
- पूंजीगत वस्तुओं के घरेलू निर्माण को प्रोत्साहित करने के लिए विशेष कास्टिंग, बॉल स्क्रू एवं लीनियर मोशन गाइड जैसे आदानों पर कुछ छूट आरंभ की गई।
- सीमा शुल्क छूट एवं प्रशुल्क सरलीकरण की समीक्षा
- 350 से अधिक छूट प्राप्त प्रविष्टियों को धीरे-धीरे चरणबद्ध रूप से समाप्त करने का प्रस्ताव है, जैसे कुछ कृषि उत्पादों, रसायनों, कपड़े, चिकित्सा उपकरणों, एवं औषधि तथा दवाओं पर छूट, जिनके लिए पर्याप्त घरेलू क्षमता मौजूद है।
- विशेष रूप से रसायन, कपड़ा एवं धातु जैसे क्षेत्रों के लिए सीमा शुल्क दर एवं प्रशुल्क संरचना को सरल बनाना एवं विवादों को कम करना; ‘मेक इन इंडिया’ एवं ‘आत्मनिर्भर भारत’ के उद्देश्य के अनुरूप – भारत में निर्मित या निर्मित की जा सकने वाली वस्तुओं पर छूट को समाप्त करना एवं मध्यवर्ती उत्पादों के निर्माण में उपयोग होने वाले कच्चे माल पर रियायती प्रशुल्क प्रदान करना।
केंद्रीय बजट 2022-23 | केंद्रीय बजट के मुख्य आकर्षण | भाग ए
केंद्रीय बजट 2022-23 मुख्य विशेषताएं: क्षेत्र विशिष्ट प्रस्ताव
- इलेक्ट्रॉनिक्स
- धारण करने योग्य उपकरणों, सुनने योग्य उपकरणों एवं इलेक्ट्रॉनिक स्मार्ट मीटर के घरेलू निर्माण की सुविधा के लिए एक श्रेणीबद्ध दर संरचना प्रदान करने हेतु सीमा शुल्क दरों को अंशांकित किया जाना है।
- मोबाइल फोन चार्जर्स के ट्रांसफार्मर के पुर्जों एवं मोबाइल कैमरा मॉड्यूल के कैमरा लेंस तथा कुछ अन्य वस्तुओं के लिए – उच्च वृद्धि योग्य इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं के घरेलू निर्माण को सक्षम करने हेतु प्रशुल्क रियायतें।
- रत्न एवं आभूषण
- कटे एवं पॉलिश किए गए हीरे तथा रत्नों पर सीमा शुल्क घटाकर 5 प्रतिशत किया जा रहा है; साधारण छोटे हीरे पर कोई सीमा शुल्क नहीं – रत्न एवं आभूषण क्षेत्र को प्रोत्साहन प्रदान करने हेतु
- इस वर्ष जून तक – ई-कॉमर्स के माध्यम से आभूषणों के निर्यात की सुविधा के लिए एक सरलीकृत नियामक ढांचा लागू किया जाएगा।
- कृत्रिम आभूषण आयात पर कम से कम 400 रुपये प्रति किलोग्राम का सीमा शुल्क देय होगा – कम मूल्य के कृत्रिम आभूषणों के आयात को हतोत्साहित करने हेतु।
- रसायन
- पेट्रोलियम शोधन के लिए कुछ महत्वपूर्ण रसायनों जैसे मेथनॉल, एसिटिक अम्ल तथा भारी प्रभरण स्टॉक पर सीमा शुल्क कम किया जा रहा है; सोडियम साइनाइड पर शुल्क में वृद्धि की जा रही है जिसके लिए पर्याप्त घरेलू क्षमता मौजूद है – इससे घरेलू मूल्यवर्धन को बढ़ाने में सहायता प्राप्त होगी।
- एमएसएमई
- छाते (छतरी) पर सीमा शुल्क बढ़ाकर 20 प्रतिशत किया जा रहा है। छतरियों के कुछ हिस्सों को प्रदत छूट वापस ली जा रही है।
- भारत में निर्मित कृषि क्षेत्र के लिए सामग्रियों एवं उपकरणों पर छूट को युक्तिसंगत बनाया जा रहा है
- एमएसएमई सेकेंडरी स्टील उत्पादकों को राहतप्रदान करने हेतु विगत वर्ष स्टील स्क्रैप को दी गई सीमा शुल्क छूट एक और वर्ष की अवधि के लिए बढ़ा दी गई है
- स्टेनलेस स्टील एवं लेपित स्टील फ्लैट उत्पादों, मिश्र धातु इस्पात एवं उच्च गति वाले स्टील के छड़ों (बार) पर कुछ प्रतिपाटन (एंटी-डंपिंग) एवं सीवीडी को – व्यापक जनहित में धातु की प्रचलित उच्च कीमतों से निपटने हेतु वापस लिया जा रहा है।
- निर्यात
- निर्यात को प्रोत्साहित करने हेतु अलंकरण, ट्रिमिंग, फास्टनरों, बटन, ज़िप, अस्तर सामग्री, निर्दिष्ट चमड़े, फर्नीचर फिटिंग एवं पैकेजिंग बक्से जैसी वस्तुओं पर छूट प्रदान की जा रही है।
- झींगा मछली पालन (जल-कृषि) के निर्यात को प्रोत्साहित करने हेतु- आवश्यक कुछ निविष्टियों पर शुल्क कम किया जा रहा है।
- ईंधन के सम्मिश्रण को प्रोत्साहित करने हेतु प्रशुल्क उपाय
- अमिश्रित ईंधन के सम्मिश्रण को प्रोत्साहित करने हेतु 1 अक्टूबर 2022 से 2 रुपये/लीटर के अतिरिक्त विभेदक उत्पाद शुल्क को आकर्षित करने हेतु।